प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष एवं पूर्व सांसद पी.आर. खुटे ने कांग्रेस पार्टी से दिया इस्तीफा

PTV BHARAT रायपुर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के उपाध्यक्ष एवं पूर्व सांसद पी.आर. खुटे ने कांग्रेस पार्टी से लिखित त्याग पत्र में कहा है कि सन् 1947 से पहले आम जनता ने एक स्वप्न देखा था, वैदेशिक राजनैतिक गुलामी की मुक्ति के बाद गुलामी की सभी बेड़ियों हट जायेगी। दकियानूसी ढाँचे को समूल उखाड़ फेंककर एक नई व्यवस्था कायम होगी। जिसमें आदमी आदमी बराबर होगा। कोई पिस्सु वर्ग करोडो मेहनत कश जनता का खून चुसने वाला नहीं होगा। कोई ऐसा तबका नहीं होगा, जो अपनी विशेष आर्थिक व सामाजिक स्थिति के कारण सारे समाज पर अपने दबदबा व निरंकुश नियंत्रण रख सके। सबकी केवल बुनियादी आवश्यकता, रोजी-रोटी, कपड़ा और मकान आदि पूरी होगी, बल्कि आम जनजीवन के लिए शिक्षा, चिकित्सा, सांस्कृतिक व आर्थिक विकास की भी सभी सहुलियते बिना किसी भेदभाव के उपलब्ध होगी। 15 अगस्त 1947 को आजादी की औपचारिकता सत्ता हस्तांतरण करके पूरी की गई। अंग्रेज चले गये। अपनी सरकार बनी। अपना संविधान बना। समस्त जनता को गारंटी दी गई कि उसे सामाजिक, आर्थिक, व राजनैतिक सांस्कृति न्याय मिलेगा। बिचारों की अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता सभी को समान स्तर पर न्याय व विचार की गारंटी दी गई। भाईचारा बढ़ाने का दावा किया गया। इस उ‌द्देश्य की पूर्ति के लिए भारतीय संविधान के खण्ड 04 में संविधान के निर्माताओं ने लिख दिया। जिसे राज्यों के लिए नीति निर्देशक तत्व के नाम पढ़ा जाता है। बंधुआ मजदूर की तरह काम करना पड़ता है। कुछ नौजवान काम न मिलने पर आतंकवादी, नक्सलवादी चंद पैसों पर बन जाते है। डकैती, चोरी, अपहरण, बलात्कार, फिरौती आदि असामाजिक कार्य में लग जाते है। नौजवान सुन्दर लड़‌कियों, काल गर्ल्स बनती है। मूख मिटाने के लिए बार डॉस करती है। देह व्यापार में लग जाती है। पढ़ी और अनपढ़ दोनों मूख की पीड़ा से बचने तथा अपने परिवार को बचाने के लिए इस तरह का कुन्सित कार्य में लग जाती है सुकुमार व नन्हे बच्चे गलत काम में लग जाते है। कचरो से कागज प्लास्टिक, लोहा चुनते हैं। बेचकर अपना भूख मिटाते है। करीब 9 करोड़ औरते देह व्यापार में जुड़ी व्यापार को बढ़ावा दिया है। देश का अस्सी प्रतिशत बच्चा पीड़ा व कुपोषण का शिकार है, शिक्षा से वंचित है। इस अनुच्छेद की अवहेलना क्यों की गई और की जा रही है ? इसके पीछे कारण क्या है? ढूंढना होगा। बालकों को स्वतंत्र और गरिमामय वातारवरण में स्वास्थ्य विकास के अवसर और सुविधाएं दी जाएं और बालकों को अल्पआयु के व्यक्तियों के शोषण तथा नैतिक और आर्थिक परित्याग की रक्षा की जाएं। सरकारों ने इस क्षेत्र में भी मुश्तैदी से काम नहीं किया। पढ़ने की व्यवस्था नहीं की, आरक्षण के नाम पर झगड़ा पैदा किया, समाज को तोड़ा। जो पढ़ना चाहते हैं उसको पढ़ने की व्यवस्था क्यों नहीं? बचपन बचाने के लिए उनको समुचित सुविधा नहीं दी जाती क्यों ? पिछड़ा वर्ग उत्थान की ओर जाने की बजाय पतन की ओर जा रहा है। छत्तीसगढ़ राज जिस उ‌द्देश्य को लेकर बनाया गया था, 25 साल हो गया वह उ‌द्देश्य पूरा होते हुये नहीं दिखाई दे रहा है। इसलिए कांग्रेस पार्टी से त्याग पत्र दे रहा हूँ। कृपया मेरा त्यागपत्र स्वीकार करने की कृपा करें। प्रतिलिपि

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *