रायपुर प्रेस क्लब में आयोजित की गई कामरेड सीताराम येचुरी स्मृति सभा

PTV BHARAT 15 SEPT 2024 रायपुर l कामरेड सीताराम येचुरी के निधन से वामपंथी, जनवादी आंदोलन के साथ ही देश ने एक बड़ा जननेता खो दिया । आज के वर्तमान दौर में सामाजिक न्याय, धर्म निरपेक्षता, लोकतंत्र की रक्षा व समाजवाद की लडाई को आगे बढ़ाने के उनके संघर्ष को आगे बढ़ाना ही सीताराम येचुरी को सच्ची श्रद्धांजलि होगी । मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के महासचिव का. सीताराम येचुरी की स्मृति में पार्टी की छ ग राज्य समिति द्वारा रायपुर के प्रेस क्लब में संपन्न एक शोक सभा में राजनीति , जन संगठनों व समाज के विविध क्षेत्रों से जुड़ी प्रमुख हस्तियों ने यह बात कही । सभा में हिस्सा ले रहे लोगों ने आधुनिक भारत के निर्माण के उनके स्वप्न को पूरा करने के संघर्ष को जारी रखने के संकल्प का भी उदघोष किया l “लाल झंडा लेकर आगे बढ़ते जायेंगे” के जनगीत व इंकलाबी नारों के साथ आरंभ हुई सभा में शोक प्रस्ताव पेश करते हुए सभाध्यक्ष माकपा राज्य सचिव मंडल सदस्य का. धर्मराज महापात्र ने का. सीताराम का जीवन परिचय प्रस्तुत करते हुए सांप्रदायिकता के खिलाफ, समाजवाद के पक्ष में एवं जन पक्षधर वैकल्पिक नीतियों के लिए मा क पा द्वारा जारी संघर्षों में उनकी प्रमुख भूमिका को निरूपित किया l शोक सभा को संबोधित करते हुए छ ग के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि सीताराम येचुरी जी को उनकी पार्टी के साथ ही दूसरे तमाम राजनीतिक दलों द्वारा भी सम्मान की दृष्टि से देखा जाता था l उन्होंने लोकतंत्र की मजबूती के लिए फांसीवादी ताकतों के खिलाफ संघर्ष को आगे बढ़ाने सभी राजनीतिक पार्टियों को एकजुट करने में माकपा की ओर से प्रमुख भूमिका का निर्वाह किया था l वे सभी धाराओं के लोगों के मध्य सहज स्वीकार्य थे l भाजपा के खिलाफ न्यूनतम साझा कार्यक्रम एवं इंडिया ब्लॉक के गठन में उनकी भूमिका महत्वपूर्ण रही l अपने 4 दशकों से भी अधिक लंबे राजनीतिक जीवन में वेआम जनता के हितों के लिए अनवरत संघर्ष करते रहे l जे एन यू अध्यक्ष रहते श्रीमती गांधी को उनके इस्तीफे के मांग करते हुए दिए गए ज्ञापन की बहुप्रचारित फोटो को याद करते हुए उन्होंने कहा कि तब असहमती को भी सुना जाता था , आज हर किस्म की असहमति को कुचल देने का प्रयास हो रहा है। सभा को माकपा राज्य सचिव का. एम. के. नंदी, माकपा राज्य सचिव मंडल सदस्य का. बी. सान्याल, भा क पा नेता का. आर. डी. पी. सी. राव, ऐप्सो एवं आई एम ए के अध्यक्ष डॉ राकेश गुप्ता, इप्टा के का. मिनहाज असद, संयुक्त ट्रेड यूनियन कौंसिल के सचिव का. एस. सी. भट्टाचार्य, बीमाकर्मियों के नेता का. सुरेंद्र शर्मा, बैंक कर्मियों के नेता का. शकील साजिद एवं का. शिरिष नलगुंडवार,पत्रकार एवं जन विज्ञान कार्यकर्ता का.पूर्णचंद्र रथ, दवा प्रतिनिधि संघ के का. प्रदीप मिश्रा, प्रेस क्लब अध्यक्ष प्रफुल्ल ठाकुर तथा सीताराम येचुरी के जे एन यू में सहपाठी रहे प्रो. हिम्मत सिंग ने संबोधित किया l सभी वक्ताओं ने कहा कि सीताराम येचुरी एक मेधावी छात्र थे और मार्क्सवादी दर्शन से प्रभावित होकर वे छात्र जीवन से ही सामाजिक परिवर्तन की लडाई में जुड़ गये l जे एन यू के छात्र आंदोलन को वामपंथी स्वरूप प्रदान करने में उन्होंने प्रमुख भूमिका निभाई l जे एन यू छात्रसंघ के अध्यक्ष के पद पर रहते हुए उन्होंने छात्रों की टीम के साथ तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गाँधी के निवास पहुंचकर उनसे वि वि के वाईस चांसलर पद से इस्तीफे की मांग करते हुए निर्भीकता से उनके खिलाफ आरोप पत्र पढ़कर सुनाया था, जिसके अगले दिन इंदिरा गाँधी ने उस पद से इस्तीफा दे दिया था l कामरेड सीताराम ने अपना पूरा जीवन मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के पूर्णकालिक कार्यकर्ता के रूप में समर्पित करने का निर्णय लिया था l वे पार्टी की केंद्रीय समिति, सचिव मंडल, पोलित ब्यूरो जैसे सर्वोच्च निकायों के लिये चुने जाते रहे तथा पार्टी के महासचिव पद पर लगातार तीसरे कार्यकाल में रहते हुए उनका निधन हुआ l तीन दशकों तक पार्टी की केंद्रीय समिति में कार्य करते हुए पार्टी की नीतियों व कार्यक्रमों को सूत्रबद्ध करने में उनकी प्रमुख भूमिका रही

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