PTV BHARAT – मध्यप्रदेश मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि प्रदेश के युवा खिलाड़ियों की एशियाड और ओलम्पिक खेलों में अर्जित उपलब्धियां सराहनीय हैं। खेलों और खिलाड़ियों के विकास के लिए प्रबंधन को बेहतर बनाते हुए राज्य सरकार प्राप्त सुझावों एवं प्रस्तावों को मान्य करते हुए उन पर अक्षरश: अमल करेगी। खिलाड़ियों के कोच अर्थात खेल प्रशिक्षक भी सामान्य शिक्षकों की तरह पदोन्नति के पात्र होंगे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि नई शिक्षा नीति में खेल भी पाठ्यक्रम का हिस्सा है। उदीयमान खिलाड़ियों के प्रोत्साहन के लिए पूरे प्रयास किए जाएंगे। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव कुशाभाऊ ठाकरे कन्वेंशन सेंटर (मिंटो हॉल) में राष्ट्रीय युवा दिवस कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने पुरस्कार प्राप्त समस्त खिलाड़ियों और प्रशिक्षकों को बधाई एवं शुभकामनाएं दीं।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भारतीय संस्कृति में खेलों का विशेष स्थान है। प्राचीन काल में होने वाले स्वयंवर में तींरदाजी जैसी गतिविधि को स्थान प्राप्त था। स्वामी विवेकानंद जी युवाओं के लिए खेल आवश्यक मानते थे। उन्होंने उस कठिन समय में शिकागो में विश्व धर्म सम्मेलन में अपनी बात रखी, जब भारत को दकियानूसी लोगों और सपेरों का देश कहा जाता था। वास्तविकता यह है कि भारत की संस्कृति की ऊंचाइयां हिमालय की ऊंचाइयों से भी बढ़कर हैं। आज प्रधानमंत्री श्री मोदी के नेतृत्व में हम चंद्रयान से गगनयान तक पहुंच रहे हैं। हमारे यान सूर्य देव (आदित्य) तक भी पहुंच सकते हैं। इक्कीसवीं सदी भारत की होगी, यह कोई कल्पना नहीं है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण के कार्य को गौरवशाली बताते हुए कहा कि भगवान राम आदर्श पुत्र, आदर्श पिता और आदर्श शासक थे। उनका प्रकृति के प्रति सम्मान था। वनवासियों और मनुष्यों के साथ वन्य प्राणियों के प्रति भी प्रेम था। भारतीय संस्कृति की विशेषताओं को जहाँ स्वामी विवेकानंद ने विश्व तक पहुंचाया, वहीं प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी प्रत्येक कार्य से अमिट छाप छोड़ रहे हैं। उन्होंने कोविड वैक्सीन, देशवासियों के साथ ही अन्य देशों तक भी नागरिकों की जीवन रक्षा के लिए पहुंचाने का कार्य किया। हाल ही में उन्होंने लक्षद्वीप जाकर यात्रा को ऐतिहासिक बनाया। यहाँ पर पर्यटन की असीम संभावनाओं को साकार किया जा सकेगा। इसी माह विश्व के अन्य स्थानों पर पर्यटन के लिए जाने वाले लोग अपनी यात्रा निरस्त कर लक्षद्वीप जाने लगे हैं।