9 माह पहले जन समस्या निवारण पखवाड़ा के नाम पर लिए आवेदनों का अता-पता नहीं

PTV BHARAT महासमुंद। प्रदेश में अपराधों की संख्या बढ़ रही है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, विगत सवा एक साल में रेप के तीन हजार से भी ज्यादा मामले में पुलिस थानों में दर्ज है। ये वे मामले हैं जो सामने आये हैं, इनके अलावा ऐसे न जाने कितने मामले होंगे जो अभी भी दबे होंगे। महिलाओं के खिलाफ अपराध के मामले में राजधानी रायपुर अव्वल नंबर पर है। यही नहीं, लूट, हत्या, बलात्कार, नकबजनी, चोरी, डकैती, अपहरण जैसे मामलों पर सरकार अंकुश लगा पाने में पूरी तरह विफल साबित हुई है। शराब के कारण आए दिन घरों में विवाद-फसाद, मारपीट की घटनाएं बढ़ रही है। शराब दुकान घटने के बजाए ग्रामीण क्षेत्रों में भी नई-नई शराब दुकान साय सरकार खोल रही है। भाजपा सरकार के लचर कानून व्यवस्था के चलते आज प्रदेश अपराधियों के कंट्रोल में आ गया है। ऐसे हालात में भाजपा की साय सरकार आगामी 8 अप्रैल से ‘‘सुशासन तिहार – 2025’’ शुरु करने जा रही है। जो सरकार की प्रशासनिक लचरता व कमजोर नेतृत्व क्षमता को छुपाने का एक असफल प्रयास है।
उक्त वक्तव्य पूर्व संसदीय सचिव व महासमुंद के पूर्व विधायक विनोद सेवनलाल चंद्राकर ने भाजपा सरकार के सुशासन तिहार को लेकर कही। श्री चंद्राकर ने कहा कि सुशासन तिहार को लेकर मुख्यमंत्री ने सभी कलेक्टरों को पत्र प्रेषित कर तैयारी के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने कहा है कि 8 अप्रैल से सुशासन तिहार-2025 शुरू करनी है। प्रथम चरण में 8 से 11 अप्रैल तक लोगों की समस्याओं व मांगों से संबंधित आवेदन लिए जाएंगे। पश्चात 1 माह के भीतर आवेदनों का निराकरण किया जाएगा। यदि ऐसा है तो भाजपा सरकार को पहले उन आवेदनों का निराकरण करना चाहिए जाे आज से 9 महीने पहले नगरीय निकाय चुनाव से पूर्व भाजपा ने शिविर लगाकर प्रदेश के समस्त निकाय क्षेत्रों के समस्त वार्डों के नागरिकों से मांगों व समस्याओं से संबंधित आवेदन लिए थे।
श्री चंद्राकर ने कहा कि वर्ष 2024 में भारतीय जनता पार्टी द्वारा जन समस्या निवारण पखवाड़ा का आयोजन प्रदेश के समस्त नगरीय निकाय क्षेत्रों में किया गया था। उक्त आयोजन 27 जुलाई 2024 से 10 अगस्त 2024 तक किया गया था। जिसमें प्रदेश के समस्त नगरीय निकायों सहित महासमुंद नगर पालिका के सभी 30 वार्डों में जन समस्या निवारण शिविर लगाकर नागरिकों से आवेदन लिए गए थे। आज 10 महीने बीतने को आ गए उन आवेदनों का अता-पता नहीं। नगर वासियों ने समस्याओं, मांगों से संबंधित आवेदन शिविरों में जमा कराए थे। शहर के 30 वार्डों से हजारों आवेदन भाजपा के शिविर में जमा हुए थे। उनमें से किसी भी आवेदनों पर कार्रवाई नहीं की गई। उन सभी आवेदनों को भाजपा ने रद्दी की टोकरी में डाल दिया।

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